
यह पोस्ट “BSc 1st Semester Chemistry Syllabus in Hindi” उन छात्रों के लिए विशेष रूप से तैयार की गई है जो बीएससी प्रथम सेमेस्टर में रसायन शास्त्र (Chemistry) विषय की पढ़ाई कर रहे हैं। इसमें दिया गया सिलेबस राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 (NEP-2020) पर आधारित है, जिसे भारत के कई विश्वविद्यालयों द्वारा अपनाया गया है।
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इस लेख में आपको BSc 1st सेमेस्टर रसायन शास्त्र का सम्पूर्ण सिलेबस हिंदी में सरल भाषा में उपलब्ध कराया गया है। यदि आप जानना चाहते हैं कि नए शैक्षिक ढांचे के तहत पहले सेमेस्टर में कौन-कौन से यूनिट और टॉपिक शामिल हैं, तो यह पोस्ट आपके लिए अत्यंत लाभकारी होगी।
BSc 1st Semester Chemistry Syllabus in Hindi PDF (2025-26)
Table of Contents
इस सेक्शन में बीएससी फर्स्ट सेमेस्टर रसायन शास्त्र (Chemistry) का सिलेबस दिया गया है | यहाँ सिलेबस में दिए गये सभी टॉपिक्स को discuss किया गया है |
📘 पेपर विवरण
कोर्स कोड: B020101T
पेपर का नाम: रसायन के मूल सिद्धांत (Fundamentals of Chemistry)
प्रकार: अनिवार्य (Compulsory)
क्रेडिट: 4
कुल व्याख्यान: 60
🎯 पाठ्यक्रम परिणाम (Course Outcomes)
इस कोर्स को पढ़ने के बाद छात्र:
- यह समझ सकेंगे कि रासायनिक बंध (Chemical Bond) कैसे बनते हैं और ये अणुओं की बनावट व गुणों को कैसे प्रभावित करते हैं।
- आवर्त सारणी (Periodic Table) के अनुसार तत्वों की विशेषताओं की पहचान कर सकेंगे।
- कार्बनिक अभिक्रियाओं (Organic Reactions) की प्रक्रिया को चरण-दर-चरण समझ सकेंगे।
- अणुओं की आकृति (Molecular Geometry), प्रतिक्रियाशीलता और उत्पादों की भविष्यवाणी कर सकेंगे।
- समावयविकी (Stereochemistry) द्वारा अणुओं की संरचना को दो और तीन आयामों (2D और 3D) में समझ पाएंगे।
- रसायन में कंप्यूटर और गणित की मूल बातों का उपयोग सीखेंगे।
🧪 इकाई I: भारतीय रसायन का इतिहास और कमजोर रासायनिक बल (Indian Chemistry & Weak Chemical Forces) – 10 व्याख्यान
- भारत के प्राचीन रसायन शास्त्र का योगदान
- अणु की ध्रुवता (Molecular Polarity)
- कमजोर बल जैसे हाइड्रोजन बॉन्डिंग (Hydrogen Bonding), वैन डर वॉल बल (Van der Waals Forces)
- डाइपोल-डाइपोल और आयन-डाइपोल आकर्षण
- फैजेन का नियम (Fajan’s Rule) और ध्रुवणशीलता (Polarizability)
- विलयन की ऊर्जा, जाली ऊर्जा (Lattice Energy), बॉर्न-हाबर चक्र (Born-Haber Cycle)
📌 उदाहरण: पानी में हाइड्रोजन बॉन्डिंग के कारण उसका क्वथनांक (boiling point) बहुत अधिक होता है।
⚛️ इकाई II: सरल बंध सिद्धांत (Simple Bonding Theories) – 10 व्याख्यान
- परमाणु कक्षा (Atomic Orbital), ऑफबाउ सिद्धांत (Aufbau Principle)
- σ और π बंध, सहसंयोजक बंध (Covalent Bond)
- संयोजक बंध सिद्धांत (Valence Bond Theory – VBT), हाइब्रिडाइजेशन (Hybridization)
- अणुओं की आकृति – जैसे H₂O, NH₃, SO₄²⁻
- अणुकक्षा सिद्धांत (Molecular Orbital Theory – MOT) और बंध क्रम (Bond Order)
📌 उदाहरण: NH₃ अणु त्रिकोणीय पिरामिड की आकृति का होता है क्योंकि इसमें एक अकेला इलेक्ट्रॉन जोड़ा (Lone Pair) होता है।
🧬 इकाई III: आवर्तीय गुणधर्म (Periodic Properties) – 5 व्याख्यान
- प्रभावी नाभिकीय आवेश (Effective Nuclear Charge), स्क्रीनिंग प्रभाव (Shielding Effect)
- परमाणु और आयनिक त्रिज्या, विद्युत ऋणात्मकता (Electronegativity)
- आयनीकरण ऊर्जा (Ionization Enthalpy), इलेक्ट्रॉन प्राप्ति ऊर्जा (Electron Gain Enthalpy)
📌 उदाहरण: फ्लोरीन (Fluorine) सबसे अधिक इलेक्ट्रॉन आकर्षित करता है क्योंकि उसकी विद्युत ऋणात्मकता सबसे अधिक होती है।
🧫 इकाई IV: कार्बनिक रसायन की मूल बातें (Basics of Organic Chemistry) – 5 व्याख्यान
- बंध की लंबाई, कोण और ऊर्जा
- इंडक्टिव प्रभाव (Inductive Effect), रेज़ोनेंस (Resonance), हाइपरकोन्जुगेशन (Hyperconjugation)
- चार्ज ट्रांसफर यौगिक, वैन डर वॉल आकर्षण
📌 उदाहरण: बेंजीन में रेज़ोनेंस के कारण सभी बंधों की लंबाई बराबर होती है।
🔁 इकाई V: कार्बनिक अभिक्रियाओं की यांत्रिकी (Mechanism of Organic Reactions) – 10 व्याख्यान
- तीरों से इलेक्ट्रॉन की गति दिखाना (Arrow Notation)
- इलेक्ट्रोफाइल और न्यूक्लियोफाइल (Electrophile & Nucleophile)
- बंध टूटने के प्रकार – समविभाजन (Homolytic) और विषमविभाजन (Heterolytic)
- प्रतिक्रियाओं के प्रकार और ऊर्जा विचार
- सक्रिय मध्यवर्ती (Reactive Intermediates): कार्बोकेशन, फ्री रेडिकल आदि
- अभिक्रिया की यांत्रिकी जानने के तरीके – उत्पाद विश्लेषण, आइसोटोप प्रयोग आदि
📌 उदाहरण: HCl का जुड़ाव अल्कीन में होता है – यह एक इलेक्ट्रोफिलिक योग प्रतिक्रिया (Electrophilic Addition) है।
🌀 इकाई VI: समावयविकी (Stereochemistry) – 10 व्याख्यान
- समावयवता के प्रकार – ऑप्टिकल, ज्यामितीय, संरचनात्मक
- रासायनिक संरचना की 3D समझ – R–S, D–L, E–Z पद्धति
- समावयवी अणुओं के प्रकार – एनैन्टियोमर, डायस्टेरियोमर, मेसो यौगिक
- न्यूमैन (Newman), फिशर (Fischer) चित्रण विधियाँ
📌 उदाहरण: ग्लूकोज़ में कई चिराल केंद्र (Chiral Centers) होते हैं, जिससे वह ऑप्टिकली सक्रिय होता है।
💻 इकाई VII: कंप्यूटर प्रणाली की मूल बातें (Basic Computer System) – 5 व्याख्यान
- हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर के प्रकार
- इनपुट/आउटपुट उपकरण, स्टोरेज
- ऑपरेटिंग सिस्टम: DOS, Windows, Linux
- सॉफ्टवेयर भाषाएँ: QBASIC, C++
- रसायन से संबंधित सॉफ्टवेयर: Chemsketch, MATLAB, आदि
📌 उदाहरण: रसायन विद्यार्थी Chemsketch का उपयोग करके अणुओं की आकृति बना सकते हैं।
📐 इकाई VIII: रसायन के लिए गणितीय अवधारणाएँ (Mathematical Concepts for Chemistry) – 5 व्याख्यान
- लॉगरिदम (Logarithm), ग्राफ और ढलान (Slope)
- अवकलन (Differentiation) और समाकलन (Integration)
- क्रमचय-संचय (Permutations & Combinations), संभाव्यता (Probability)
📌 उदाहरण: pH की गणना के लिए लॉगरिदमिक सूत्र – pH = –log[H⁺] का उपयोग किया जाता है।
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